Written by : Sanjay kumar
नई दिल्ली, 22 अप्रैल।
भारत निर्वाचन आयोग ने कांग्रेस द्वारा महाराष्ट्र विधानसभा चुनाव में गड़बड़ी के आरोपों को तथ्यों के साथ सिरे से खारिज करते हुए इसे लोकतंत्र का अपमान बताया है। आयोग ने कहा कि चुनाव प्रक्रिया पूर्ण पारदर्शिता और कानूनी प्रक्रिया के तहत संपन्न हुई।
आयोग के अनुसार, चुनाव में 6.40 करोड़ से अधिक मतदाताओं ने मतदान किया। अंतिम दो घंटों में वोटिंग सामान्य औसत से कम रही, जिससे ‘अचानक वृद्धि’ के आरोप बेबुनियाद साबित होते हैं।
राजनीतिक दलों के 1.03 लाख एजेंटों, जिनमें से 27,099 कांग्रेस के थे, की मौजूदगी में मतदान प्रक्रिया पूरी हुई। आयोग ने कहा कि कोई भी ठोस शिकायत कांग्रेस सहित किसी भी दल द्वारा नहीं दी गई।
मतदाता सूचियों को लेकर भी सिर्फ 90 अपीलें दर्ज हुईं, जो 9.77 करोड़ मतदाताओं की तुलना में बेहद कम हैं। यह बताता है कि सूचियों को लेकर व्यापक असंतोष नहीं था।
आयोग ने बताया कि 24 दिसम्बर 2024 को कांग्रेस को विस्तृत जवाब भेजा गया, जिसे सार्वजनिक भी किया गया। बावजूद इसके बार-बार आरोप दोहराना लोकतंत्र को कमजोर करने की साजिश जैसा है।
प्रमुख बिंदु (मुख्य बातें):
- चुनाव आयोग ने कांग्रेस के आरोपों को तथ्यहीन बताया।
- 6.4 करोड़ वोटरों ने पारदर्शी प्रक्रिया में मतदान किया।
- कोई भी दल शिकायत लेकर आधिकारिक तौर पर नहीं पहुंचा।
- 90 से भी कम आपत्तियाँ – यानी नामावली पर कोई गंभीर असहमति नहीं।
- 1.03 लाख एजेंटों की मौजूदगी पारदर्शिता का प्रमाण।
- बार-बार आरोप दोहराना संस्थागत गरिमा के खिलाफ।
- आयोग ने लोकतंत्र की विश्वसनीयता की रक्षा का संदेश दिया।