प्रमुख संवाद, 01 दिसम्बर।
कोटा। रविवार को कोटा के आकाश टाकिज में प्रात 9.15 बजे द साबरमती रिपोर्ट फिल्म का प्रथम शो कोटा शहर की जनता को सहकार नेता राजेश कृष्ण बिरला द्वारा दिखाया गया। बिरला ने इस अवसर बताया कि कोटा शहर के 300 महिला,पुरूष व बच्चो ने द साबरमती रिपोर्ट फिल्म देखी। फिल्म के मध्य कई भारत माता की जय व जय श्री राम के नारे लगे।
सत्य परेशान होता पराजीत नहीं
बिरला ने कहा कि फिल्म द साबरमती रिपोर्ट में एक हिंदी पत्रकार के साबरमती एक्सप्रेस की घटना को सच समाने लाने की जद्दोजहद को बखूबी दिखाया गया।”यह फिल्म सत्य और न्याय के प्रति जागरूकता फैलाने का एक प्रयास है।यह फिल्म हिम्मत के साथ उस सच को सामने लाने की कोशिश करती है जो 27 फरवरी 2002 की सुबह गोधरा रेलवे स्टेशन के पास साबरमती एक्सप्रेस में घटित हुई थी इसमें न केवल इतिहास को बल्कि उसे वक्त के सामाजिक और राजनीतिक संदर्भ को भी दिखाया गया है। बिरला ने कहा कि 22 साल पहले गुजरात के गोधरा में साबरमती ट्रेन पर हुए अटैक और उसमें अपनी जान गंवाने वाले 59 लोगों का सच सामने लाने की कथा है उन्होने कहा कि सच को दबाने की कोशिक की गई परन्तु प्रधानमंत्री मोदी के गुजरात की बागडोर संभालने के बाद सच जनता के समाने आया। सच परेशान रहा परन्तु पराजीत नहीं हुआ।
बिरला ने कहा गोधरा कांड एक ऐसा संवेदनशील विषय है जिस पर कम ही फिल्में बनती हैं। “द साबरमती रिपोर्ट” इस विषय को उठाने का साहस दिखाती है और उस समय के सामाजिक-राजनीतिक माहौल को उजागर करती है। उन्होने कहा कि यह दर्शकों को भावनात्मक रूप से प्रभावित करते हैं। यह फिल्म केवल तथ्यों पर केंद्रित नहीं है, बल्कि उन मानवीय पहलुओं को भी दिखाती है जो इस घटना से प्रभावित हुए थे।