प्रमुख संवाद
कोटा, 27 नवंबर।
महिला सशक्तिकरण: भारत का संविधान पर विशेष व्याख्यान आयोजित
अधिवक्ता परिषद कोटा द्वारा संविधान दिवस का आयोजन न्यायालय परिसर के सभागार में किया गया। परिषद के जिला महामंत्री संजय राठौड़ ने जानकारी दी कि इस वर्ष का विषय “महिला सशक्तिकरण: भारत का संविधान” रखा गया।
कार्यक्रम के मुख्य वक्ता डॉ. गरिमा गौतम (सहायक आचार्य, राजकीय विधि महाविद्यालय) ने महिलाओं के मूल और संवैधानिक अधिकारों पर विस्तार से प्रकाश डाला। मुख्य अतिथि डॉ. निलेश कुमार जैन (सीनियर प्रोफेसर, यूरोलॉजी विभाग, मेडिकल कॉलेज, कोटा) ने महिला सशक्तिकरण के ऐतिहासिक और समकालीन पहलुओं पर अपने विचार साझा किए। उन्होंने झांसी की रानी लक्ष्मीबाई, सिस्टर निवेदिता, और किरण बेदी जैसी प्रेरणादायी महिलाओं के योगदान को रेखांकित करते हुए कहा कि आज भी महिला सशक्तिकरण जैसे विषयों पर चर्चा की आवश्यकता विडंबना है।
विशिष्ट अतिथि मनोज गौतम एडवोकेट (उपाध्यक्ष, चित्तौड़ प्रांत) ने अधिवक्ता परिषद की संगठनात्मक संरचना और गतिविधियों की जानकारी दी। परिषद के जिला अध्यक्ष हरीश शर्मा एडवोकेट ने अतिथियों का परिचय दिया, और सत्यवीर सिंह चौहान (उपाध्यक्ष) ने श्रीफल भेंट कर सम्मान किया।
इस अवसर पर अभिभाषक परिषद कोटा के अध्यक्ष मनोज पुरी और महासचिव अजय श्रृंगी ने भी अपनी उपस्थिति दर्ज कराई।
कार्यक्रम का समापन स्वाति जैन एडवोकेट (उपाध्यक्ष) ने अतिथियों और आगंतुकों के प्रति आभार व्यक्त करते हुए किया। बैठक में पूर्व अध्यक्ष नवीन शर्मा, प्रमोद शर्मा, पूर्व महासचिव रोहित राजावत, मंत्री हेमंत शर्मा, महेश भार्गव, बनवारी दाधीच, और कार्यकारिणी सदस्य महेश चंदवानी, प्रदीप मेहरा, लक्ष्मण हाड़ा, वैभव शर्मा, देवराज सिंह, विवेक तिवारी, पवन गौतम, एवं हेमंत मालव उपस्थित रहे।
संविधान दिवस पर इस आयोजन ने महिला सशक्तिकरण के महत्व को एक नई दृष्टि से प्रस्तुत किया और समाज में सकारात्मक बदलाव के लिए प्रेरित किया।